वर्ष 2016 में महिलाओं का पीछा करने के कम से कम 7,132 मामले दर्ज किए गए हैं। ये आंकड़े वर्ष 2014 की तुलना में 52 फीसदी ज्यादा हैं। 8 अगस्त 2017 को गृह मंत्रालय के राज्य मंत्री हंसराज गंगाराम अहिर ने लोकसभा में एक प्रश्न के उत्तर में यह जानकारी दी है।

4 अगस्त, 2017 को चंडीगढ़ में हरियाणा भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रमुख सुभाष बराला के बेटे विकास बराला ने कथित तौर पर एक वरिष्ठ भारतीय प्रशासनिक सेवा अधिकारी 29 वर्षीय बेटी वर्णिका कुंडू का सड़क पर पीछा किया था, जैसा कि इंडियन एक्सप्रेस ने 8 अगस्त, 2017 की रिपोर्ट में बताया है। पिछले तीन वर्षों में चंडीगढ़ में पीछा करने के 38 मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें 41 गिरफ्तारियां हुई हैं।

भारत में पिछले तीन सालों में पीछा करने के कम से कम 18,097 मामले सामने आए हैं और कुल 20,753 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। हालांकि, सजा दर कम बनी हुई है । सजा दर वर्ष 2014 में 34.8 फीसदी, वर्ष 2015 में 26.4 फीसदी और वर्ष 2016 में 24.7 फीसदी है।

तीन वर्षों में पीछा करने के मामले

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Source: Lok Sabha Note: Data for 2016 provisional

वर्ष 2015 में, केंद्र शासित दिल्ली में पीछा करने के सबसे ज्यादा अपराध दर्ज किए गए हैं। दिल्ली के लिए ये आंकड़े 12.1 फीसदी रहे हैं। इस संबंध में, 4.2 फीसदी के साथ तेलंगाना दूसरे औऱ 2.7 फीसदी के साथ हरियाणा तीसरे स्थान पर रहा है।

पिछले तीन वर्षों में सबसे ज्यादा मामले महाराष्ट्र में दर्ज किए गए हैं। राज्य के लिए यह संख्या 3,783 का रहा है। जबकि दिल्ली के लिए यह आंकड़े 2,500, तेलंगाना के लिए 2,288, उत्तर प्रदेश के लिए 1,837 और आंध्र प्रदेश के लिए पीछा करने के दर्ज मामले 1,694 रहे हैं। देश भर में पीछा करने के मामलों में 67 फीसदी मामले पांच राज्यों के हैं।

देश भर में दर्ज पीछा करने के मामले, वर्ष 2016

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Source: Lok Sabha Note: Data for 2016 provisional

पीछा करने के मामले भारतीय दंड संहिता की धारा 354 डी के तहत पंजीकृत होते हैं।

(मल्लापुर विश्लेषक हैं और इंडियास्पेंड के साथ जुड़े हैं।)

यह लेख मूलत: अंग्रेजी में 8 अगस्त 2017 को indiaspend.com पर प्रकाशित हुआ है।

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